तहलका न्यूज,बीकानेर। लंबे वर्षों से जाम से परेशान शहरवासियों को निजात की उम्मीद बंधी है। इसको लेकर सरकार ने दुकानों- मकानों को तोडऩे का निर्णय लिया है। जिसको लेकर नोटिफिकेशन भी जारी किया जा रहा है। दशकों पुरानी रेल फाटक समस्या को दूर करने के लिए राज्य सरकार ने कोटगेट और सांखला फाटक के आसपास बनी 36 दुकानों-मकान को तोडऩे का निर्णय किया है। इसके लिए इनके मालिकों को अधिग्रहण का नोटिस जारी कर दिया गया है।इस कार्रवाई को 60 दिन के भीतर पूरा किया जाएगा और इस दौरान कोई भी इस जमीन को खरीद या बेच नहीं सकेगा। सरकार ने इसके लिए बाकायदा गजट नोटिफिकेशन जारी किया है।

अंडरपास बनाने के लिए जमीन की है जरूरत
कोटगेट और सांखला फाटक के पास अंडरपास बनाने के लिए राज्य सरकार को दोनों ही जगह जमीन की जरूरत है। ऐसे में इन्हें तोडऩे के अलावा कोई विकल्प सरकार के पास नहीं है। इसी कारण कोटगेट फाटक के पास की 13 दुकानों और सांखला फाटक के पास 23 दुकानों का अधिग्रहण किया जा रहा है। ऐसे में कोटगेट के पास 124.52 वर्ग मीटर और सांखला फाटक के पास 184.21 वर्ग मीटर जमीन अधिगृहीत की जा रही है।

इन दुकानों का होगा अधिग्रहण
कोटगेट फाटक के पास 13 दुकानें हटेगी कोटगेट अंडरपास के लिए नथमल एंड संस, ओमप्रकाश भगवती देवी,दीनमल दीपचंद प्रजापत,जमनादास पन्नालाल महावीर प्रसाद,पेंटर भोज,स्टोर ओम प्रकाश भगवंती देवी,ओसवाल ट्रेडर्स, वाइन शॉप,चांद देवी पत्नी गिरधारीलाल,जयभारत स्टोर राजेश कुमार,मसाला शॉप इंद्रजीत सोलंकी,गेस्ट हाउस चिरंजीलाल श्रीमाली ओर पानी की प्याऊ का हिस्सा अधिग्रहित किया जा रहा है। ये सभी बिल्डिंग पूरी नहीं हटाई जाएगी,बल्कि इसका जरूरत वाला हिस्सा ही हटेगा।

सांखला फाटक के पास 23 दुकानें हटेगी
इसी तरह सांखला फाटक के पास अंडरपास बनाने के लिए काली माई होटल, शॉप सूर्य कश्यप पुत्र रमेश कुमार मेहरा, गुड्‌डू डिस्पोजल एंड केमिकल्स शाजिद खान,विनीत प्रोविजनल स्टोर ओमप्रकाश गहलोत की 2 दुकान,भाटी प्रोविजन स्टोर पीरुराम भाटी,राजेंद्र अग्रवाल का गेट,राजेंद्र अग्रवाल का ही साइकिल स्टैंड,डेयरी,डिस्पोजल शॉप,विशाल डिस्पोजल भंडार और अग्रवाल भवन,मनीष अग्रवाल के खंडाराम स्टोर और 4 बंद दुकानें, बी.एस.अग्रवाल और रतन रेडियो की दुकानों का हिस्सा भी हटेगा। यहां मनीष अग्रवाल की पिंजारे वाली दुकान भी हटेगी। उर्मिला आसोपा की झंवरजी घी,ओसापा होम्योपैथी और 1 बंद मकान भी हटेगा।

आपत्ति भी दर्ज करा सकते है मकान-दुकान मालिक
दरअसल, इन दुकानों का अधिग्रहण 60 दिन के भीतर हो जाएगा। इस कार्रवाई के बाद दुकानों व मकानों को हटाने का काम शुरू होगा। इस कार्रवाई के पूरा होने के बाद अंडरपास बनने का रास्ता साफ होगा। फिलहाल इस काम में करीब एक साल का वक्त लगने की संभावना जताई जा रही है। इन्हीं 60 दिनों में मकान व दुकान मालिक अपनी आपत्ति भी दर्ज करा सकते हैं।

नियमानुसार मिलेगा मुआवजा
बीकानेर में रेल फाटकों की समस्या बीकानेर में रेल सेवा शुरू होने के बाद से है। शुरू से यही पर रेलवे स्टेशन था। जिन दुकानों—मकान को हटाया जाएगा,उनके मालिकों को नियमानुसार मुआवजा मिलेगा। इसलिए पूर्व में अधिग्रहण नोटिस जारी किया गया है। 60 दिन के अंदर आपत्ति दर्ज करानी है, इसके बाद दुकानें—मकान खाली करना होगा। जिन दुकानों को हटाया जाएगा उनके अधिकांश 40 से 50 साल पुरानी है।

पूर्व सरकार ने रेल फाटकों के लिए 35 करोड़ किए थे स्वीकृत
प्रदेश की पूर्व अशोक गहलोत सरकार ने अपने पिछले टर्म में रेल फाटकों के लिए 35 क रोड़ रुपए स्वीकृत किए थे। सरकार चली गई और अब काम भाजपा सरकार में पूरा हो रहा है। इससे पहले वसुंधरा राजे सरकार ने इसी समस्या के हल के लिए एलिवेटेड रोड बनाने का निर्णय किया था, सर्वे भी किया गया। एक पिलर लगाकर काम भी शुरू हुआ,लेकिन बाद में इसका विरोध हुआ तो एलिवेटेड रोड नहीं बनी।