तहलका न्यूज,बीकानेर। पीबीएम अस्पताल धीरे धीरे हाईटेक होता जा रहा है। अस्पताल के नाक, कान व गला से जुड़े रोग के लिए डॉक्टर्स को दिखाना है तो ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करवाना पड़ेगा। दरअसल, अस्पताल के इस विभाग ने एक मोबाइल एप तैयार कर ली है, जिसे प्ले स्टोर से डाउनलोड किया जा सकता है।मोबाइल एप आईएचएमएस के माध्यम से ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन की शुरूआत मंगलवार से हुई। पीबीएम अस्पताल के अधीक्षक डॉ. पी. के. सैनी ने बताया कि ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन के लिए अस्पताल में ऑनलाइन फास्ट ट्रैक काउंटर स्थापित किया गया है तथा वर्तमान में कार्यरत सभी चिकित्सक, नर्सेज एवं ब्लड बैंक स्टाफ की आईएचएमएस पोर्टल पर यूजर आईडी का कार्य पूर्ण किया जा चुका है। वर्तमान में ओपीडी एवं आईपीडी मरीजों से संबंधित पर्ची, भर्ती एवं डिस्चार्ज का कार्य भी पोर्टल के माध्यम से किया जा रहा है। इसके अतिरिक्त पीबीएम अस्पताल में स्थापित ब्लड बैंक, समस्त लैब एवं जांच मशीनों को भी आईएचएमएस से लिंक किया जा रहा है।
ये रहेगी प्रक्रिया
पीबीएम अस्पताल के एसीपी (उपनिदेशक) ने बताया कि नाक, कान, गला, चर्म व रति रोग विभाग में रोगी को चिकित्सकीय परामर्श हेतु ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन के लिए प्ले स्टोर से आईएचएमएस राजस्थान या एप्पल स्टोर से आईएचएमएस ऑनलाइन एप्प इंस्टॉल कर मोबाइल नंबर दर्ज करना होगा। उन्होंने बताया कि एप्प के माध्यम से बीकानेर जिले का चयन करने के उपरांत अस्पतालों की सूची में से पीबीएम अस्पताल का चयन करना होगा। उन्होंने बताया कि मरीज को जिस विभाग से परामर्श लेना है उस विभाग का चयन कर मरीज का नाम एवं जन आधार संख्या दर्ज करना अनिवार्य होगा। मरीज को आवश्यक स्लॉट चुनने के बाद परामर्श तिथि और समय प्रदर्शित किया जाएगा । विवरण की पुष्टि करने के बाद सिस्टम परामर्श के लिए दिन एवं समय की पुष्टि संदेश प्रेषित करेगा। उन्होंने बताया कि मरीज को टोकन नंबर प्राप्त करने के पश्चात फास्ट ट्रैक काउंटर से अपनी ओपीडी स्लिप प्राप्त करनी होगी।
राजस्थान मेडिकल रिलिफ सोसायटी की बैठक
राजस्थान मेडिकल रिलिफ सोसायटी की बैठक मेडिकल कॉलेज सभागार में हुई। जिसमें पीबीएम अस्पताल में सुविधाओं के विस्तार व चिरंजीवी योजना का लाभ आमजन को ज्यादा से ज्यादा मिल सके। इसको लेकर चर्चा की गई। संभागीय आयुक्त नीरज के पवन की अध्यक्षता में हुई इस बैठक में तय किया गया कि अब मरीज को यदि डॉक्टर्स को दिखाना है तो ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करवाना पड़ेगा। इसके लिये अस्पताल प्रबंधन की ओर से एक मोबाइल एप तैयार किया गया है। जिसे प्ले स्टोर से डाउनलोड किया जा सकता है।मोबाइल एप के माध्यम से चिकित्सक से मिलने का समय तय होगा। जिसकी शुरूआत बुधवार से होगी ।